यंग बॉयज़ क्लब के 54वें वर्ष में ‘देवी दुर्गा- ब्रम्हांड की शक्ति’ है थीम
कोलकाता । इस वर्ष दुर्गापूजा में यंग बॉयज़ क्लब के सदस्यों ने हमेशा की तरह प्रासंगिक और सामाजिक मुद्दों को थीम बनाकर मंडप निर्माण की कोशिश की है । इस वर्ष 54वें वर्ष में कमेटी के सदस्य “देवी दुर्गा – ब्रह्मांड की शक्ति” थीम पर मंडप का निर्माण कर रहे हैं। यह पूजा मंडप मध्य कोलकाता में तारा चंद दत्ता स्ट्रीट में सेंट्रल एवेन्यू और रवीन्द्र सरणी को जोड़ने वाले मार्गे में स्थित है। यहां दुर्गोत्सव का आयोजन इलाके के लोगों के लिए एक बड़ा आकर्षण का केंद्र है । हिंदू पौराणिक कथाओं में देवी दुर्गा को सबसे शक्तिशाली देवी माना गया है। सामान्य तौर पर दुर्गा की शक्ति को उनके 10 हाथों में अलग-अलग हथियार से दर्शाया जाता है। देवी दुर्गा की दस भुजाएं इस बात का प्रतीक हैं कि वह अपने भक्तों की सभी दिशाओं – आठ कोनों, आकाश और पृथ्वी से रक्षा करती हैं। उनके हाथ में इन 10 ग्लोब विराजमान है, जो यह दर्शाता है कि देवी दुर्गा पूरे पृथ्वी पर कैसे इन 10 ग्लोबों के जरिये अपने भक्तों को सभी कठिनाइयों और समस्याओं से बचा रही हैं। “वसुधैव कुटुंबकम” एक संस्कृत वाक्यांश है, जो महाउपनिषद जैसे हिंदू ग्रंथों में पाया जाता है, जिसका अर्थ है “विश्व एक परिवार है”।
मुख्य आयोजक राकेश सिंह ने कहा कि इस साल, यंग बॉयज़ क्लब की ओर से मंडप निर्माण के जरिये देवी दुर्गा की दिव्य शक्ति के अवतार को भक्तों के सामने लाने की कोशिश कर रहा है। मंडप के बाहर 32 फुट की मां दुर्गा की प्रतिमा भक्तों के बीच वैश्विक शक्ति के स्रोत के प्रतीक के रूप में विराजमान रहेगी। पूरे विश्व की शक्ति को देवी के साथ जुड़ाव को दर्शाने के लिए इस भव्य उँची प्रतिमा के 10 हाथों में 10 ग्लोब को रखा गया है। जो पूरे पृथ्वी में विभिन्न पहलुओं के प्रतीक होंगे । यहां देवी के दर्शन को आनेवाले लोगों को पंडाल के अंदर झिनुक की मदद से अत्याधुनिक डिजाइन एवं वर्क का जटिल काम देखने को मिलेगा। मंडप के भीतर देवी की मूर्ति भी झिनुक से बनी होगी। पिछले चार महीनों से इस आकर्षक मंडप को भव्य रूप देने का काम चल रहा है। यंग बॉयज़ क्लब के युवा अध्यक्ष श्री विक्रांत सिंह ने कहा, यहां आनेवाले लोगों को भारत की चंद्र विजय के उपलक्ष्य में मंडप के बाहर एक अतिरिक्त आकर्षण, चंद्रयान-3 के एक आकर्षक मॉडल देखने को मिलेगा।
………………………………
मोहम्मद अली पार्क का पंडाल होगा केदाननाथ मंदिर की प्रतिकृति
कोलकाता । मध्य कोलकाता में मोहम्मद अली पार्क के यूथ एसोसिएशन की ओर से की जानेवाली सबसे पुरानी एवं लोकप्रिय दुर्गापूजा में दर्शनार्थी इस वर्ष उत्तराखंड में स्थित एक अकल्पनीय दार्शनिक स्थल केदारनाथ मंदिर में खुद को पायेंगे। यह तीर्थस्थल देश के सबसे प्रसिद्ध स्थानों में से एक माना गया है। इस वर्ष मोहम्मद अली पार्क के यूथ एसोसिएशन की दुर्गापूजा 55वें वर्ष में प्रवेश की है। कमेटी के सदस्यों का कहना है कि बाबा केदारनाथ के दर्शन के लिए उनके भक्त हमेशा उत्सुक रहते हैं। हालांकि, कुछ भाग्यशाली भक्तों को ही बाबा के दर तक पहुंचकर उनके दर्शन का सौभाग्य प्राप्त होता है। बाबा के दर्शन को लेकर भक्तों की इस उत्सुकता को देखते हुए पूजा आयोजन कमेटी के सदस्यों ने कोलकाता में ही बाबा केदारनाथ का भक्तों को दर्शन कराने की एक कोशिश की हैं। केदारनाथ मंदिर उत्तर भारत के पवित्र तीर्थस्थलों में से एक है। समुद्र तल से यह मंदिर 3584 मीटर की ऊंचाई पर मंदाकिनी नदी के तट पर स्थित है। केदारनाथ मंदिर उत्तराखंड के चार धामों और पंच केदारों में से एक है। यह भारत में भगवान शिव के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक ज्योतिर्लिंग है।
सुरेंद्र कुमार शर्मा (महासचिव, मोहम्मद अली पार्क यूथ एसोसिएशन) ने कहा, दुर्गापूजा के पावन अवसर पर हम देवी दुर्गा के भव्य रूप के साथ यहां आनेवाले दर्शनार्थियों को बाबा केदारनाथ मंदिर में भी होने का अनुभव करायेंगे। कई लोगों को अबतक बाबा केदारनाथ मंदिर जाने का सौभाग्य नहीं प्राप्त हुआ है, वे इस पंडाल के माध्यम से बाबा केदारनाथ मंदिर की झलक देख बाबा तक अपनी पुकार पहुंचा सकते हैं। यहां आनेवाले भक्तों को इस मंडप में आकर शिव के बारह ज्योतिर्लिंगों में से एक के भव्य दर्शन होंगे। पंडाल का बाहरी स्वरूप बिलकुल केदारनाथ मंदिर जैसा दिखेगा। इस साल मां की मूर्ति ‘शिव ही शक्ति हैं’ के आधार पर बनायी गयी है। देवी मां की भव्य मूर्ति को मिदनापुर के मशहूर शिल्पकार कुश बेरा बना रहे हैं। मंडप व इसके आसपास थीम के मुताबिक लाइटिंग की सजावट चंदननगर के कारीगरों द्वारा की गयी है।