देश के 13वें उपराष्ट्रपति होंगे वेंकैया नायडू

वेंकेया नायडू देश के 13वें उपराष्ट्रपति बन गए हैं। नायडू ने एनडीए उम्मीदवार के तौर पर उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में विपक्ष के उम्मीदवार गोपालकृष्ण गांधी को हराया। वैंकेया नायडू को 516 वोट मिले, तो गोपालकृष्ण गांधी को 244 मिले। वैंकेया नायडू ने गोपालकृष्ण गांधी को 272 वोटों से हराया। प्रधानमंत्री मोदी ने वैंकेया नायडू को बधाई दी है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पार्टी में वैंकेया नायडू के साथ काम करने वाले दिनों को याद करते हुए कहा कि वैंकेया नायडू देश को आगे ले जाएंगे। हमें सहयोग मिलता रहेगा। इससे पहले, देश का 13वां उपराष्ट्रपति तय करने के लिए शनिवार को संसद के दोनों सदनों के सदस्यों ने वोटिंग की। उपराष्ट्रपति पद के लिए शनिवार को संसद भवन में मतदान हुआ, जिसमें 771 सांसदों ने वोट डाले। कुल 785 सांसदों को वोट करना था। इस तरह से 98.21 प्रतिशत सांसदों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। मतगणना की शुरुआत से ही वैंकेया नायडू ने बढ़त बना ली। और आखिर तक उन्होंने बढ़त बनाए रखी।

उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में बीजेपी की जीत के साथ ही नया रिकॉर्ड भी बना है, जिसमें बीजेपी ने पिछली बार की तुलना में कहीं जोरदार जीत दर्ज की है। देश के उप राष्ट्रपति पद के चुनाव में मुख्य मुकाबला राजग उम्मीदवार वैंकेया नायडू और विपक्ष की तरफ से खड़े किए गए महात्मा गांधी के प्रपौत्र गोपाल कृष्ण गांधी के बीच था, जिसमें वैंकेया नायडू ने बाजी मारी।
उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में शुरूआत से ही आंकड़े राजग उम्मीदवार वैंकेया नायडू के ही पक्ष में थे। ऐसे में राष्ट्रपति चुनाव की तरह ही उपराष्ट्रपति चुनाव को भी महज औपचारिकता माना जा रहा था। इस चुनाव में राजग में अपने बूते अपने उम्मीदवार को जीत हासिल कराने माद्दा था। इस बीच राजग के इतर 5 दलों के समर्थन में आ जाने के बाद मुकाबला एकतरफा हो गया। हालांकि विपक्ष की तरफ से घोषित उम्मीदवार और महात्मा गांधी के प्रपौत्र गोपालकृष्ण गांधी ने कहा कि इस चुनाव को एकतरफा नहीं माना जा सकता है, क्योंकि दो लोग लड़ रहे हैं। जीतेगा कोई एक ही व्यक्ति ही।
इस चुनाव में पीएम मोदी ने सबसे पहले वोट डाला। इसके बाद वैंकेया नायडू, गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर, यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई सांसदों ने वोट डाला। इस चुनाव में राज्यसभा सांसद रेखा, डिंपल यादव और बीजेपी एमपी हेमामालिनी ने भी अपने मताधिकार का प्रयोग किया। वोटिंग के दौरान ही हेमामालिनी ने दावा कर दिया था कि जीत नायडू की ही होगी।
उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में वोटिंग के बाद सचिन तेंदुलकर ने कहा कि देश में जिन जगहों पर वोटिगं हो रही है, सभी को अपना वोट डालना चाहिए।

गोपाल कृष्ण गाँधी

इससे पहले, उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में अपना वोट डालने से ठीक पहले नायडू ने कहा था कि ‘यह लड़ाई किसी पार्टी की नहीं हैं अधिकतर दल मेरे समर्थन में हैं। मुझे उम्मीद है मतदाता मेरे समर्थन में करेंगे वोट।’ इस चुनाव में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, गुलाम नबी आजाद और गोपाल कृष्ण गांधी ने भी अपने मताधिकार का प्रयोग किया। तो केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भी अपना वोट डाला।
वोट डालने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, भाजपा के वरिष्ठ नेता लाल कृष्ण आडवाणी और कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी भी पहुंचे थे।
ऐसे होती है उपराष्ट्रपति पद के लिए वोटिंग
सीक्रेट बैलेट के माध्यम से उपराष्ट्रपति का चुनाव होता है। इसमें लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य ही केवल वोट डाल सकते हैं। अपनी पसंद को मार्क करने के लिए सांसद एक खास पेन का इस्तेमाल करते हैं। अगर कोई सदस्य किसी दूसरे पेन का उपयोग करता है तो फिर वो वोट खारिज हो जाता है। बैलेट पेपर में चुनाव लड़ रहे उम्मीदवार का नाम होता है लेकिन इस पर किसी तरह का चुनाव चिह्न नहीं होता। गौरतलब है कि मौजूदा समय में लोकसभा में राजग के 340 तो राज्यसभा में 85 सांसद हैं। इसके अलावा एआईएडीएमके के दोनों धड़ों, इनेलो, टीआरएस और वाईएसआर कांग्रेस ने भी राजग उम्मीदवार वेंकैया नायडू को समर्थन देने की घोषणा की है। इन दलों के सांसदों की संख्या 26 है।

 

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