कोलकाता । कोविड-19 पारंपरिक कार्यबल को नहीं रोक सकता, बल्कि कार्य, कार्यस्थल और कार्यबल का एक नया रूप तैयार कर सकता है। हाल ही में महानगर में पूर्वी भारत क्षेत्रीय सम्मेलन में 28 मई 2022 को राष्ट्रीय कार्मिक प्रबंधन संस्थान (एनआईपीएम) द्वारा पूर्वी क्षेत्रीय वाद-विवाद सत्र द्वारा आयोजित किया गया। महामारी ने भले ही हमारी गति को बाधित किया, सम्भवतः एक सीमा तक विभाजित भी हैं मगर जीवित हैं। वाद – विवाद सत्र में यह बात उठकर आई। एनआईपीएम के पूर्वी क्षेत्रीय सम्मेलन 2022 में प्रख्यात एच आऱ प्रोफेशनल शामिल थे जिन्होंने “संगठनात्मक सीमाओं का पुनर्निर्माण” पर अपने विचार व्यक्त किए।
इसकी शुरुआत एक उद्घाटन सत्र के साथ हुई जहां उद्योग, वाणिज्य और उद्यम मंत्री डॉ. पार्थ चटर्जी ने कार्यक्रम को सम्बोधित किया। यह आयोजन “कार्यस्थल के बारे में मिथक को दूर करने” और “कार्यबल परिवर्तन का नेतृत्व करने के लिए मानव संसाधन रणनीतियों” समेत कई अन्य विषयों पर चर्चा हुई।
प्रतिष्ठित बिजनेस स्कूलों, हेरिटेज बिजनेस स्कूल (कोलकाता), भवन कोलकाता, आईक्यू सिटी यूनाइटेड वर्ल्ड स्कूल ऑफ बिजनेस-कोलकाता और आर्मी इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, कोलकाता के युवा डिबेटर्स ने पूर्वी क्षेत्रीय वाद-विवाद सत्र में खचाखच भरे दर्शकों में उत्साह भर दिया। अन्य प्रतिभागियों का मानना था कि कोविड -19 ने भावना को एक हद तक कम कर दिया है, लेकिन पारंपरिक कार्यबल को नहीं मार सकता है और इस प्रकार, युवा जीवंत भारत जल्द से जल्द अपने कार्य केंद्र पर पूरी तरह से वापस आ रहा है।
मॉडरेटिंग पैनल में श्रेयी के सीएचआरओ जयदीप चटर्जी, सीएचआरओ, प्रख्यात सदस्य निर्णायक मंडल में कई विशिष्ट व्यक्ति शामिल थे। इनमें आईआईएसडब्ल्यूबीएम के निदेशक, लोक सेवा आयोग, पश्चिम बंगाल सरकार के पूर्व अध्यक्ष दीपांकर दासगुप्ता, एनआईपीएम के राष्ट्रीय अध्यक्ष विश्वेश कुलकर्णी शामिल थे। निर्णायक मंडल के लिए निर्णय कठिन था। कड़े मुकाबले में हेरिटेज बिजनेस स्कूल के एमबीए की टीम ने बाजी मारी। असना फातमा उस्मान और मोहम्मद अरसलान आफ्टर विजेता बने।