नयी दिल्ली : वित्तीय क्षेत्र में महिलाओं को काफी कम जगह मिली है जिससे इस क्षेत्र को भारी नुकसान हो रहा है। अक्सर महिलाओं की जरूरतों के हिसाब से वित्तीय प्रोडक्ट पेश नहीं किया जाता है। उनकी जरूरतों को अनसुना करना वित्तीय सेक्टर के लिए घाटा साबित हुआ है। वित्तीय क्षेत्र को इससे एक साल में 700 अरब डॉलर का नुकसान हो रहा है।
ऐसा इसलिए क्योंकि ज्यादातर जेंडर न्यूट्रल नजर आने वाले प्रोडक्ट पुरुषों की जरूरत को ध्यान में रखकर बनाए जाते हैं। मैनेजमेंट कन्सल्टेंसी फर्म ऑलिवर वेमन (Oliver Wyman) ने इस संदर्भ में कहा है कि आमतौर पर महिलाओं की बातों को सुना नहीं जाता है या फिर उन्हें पहले से ही तय प्रोडक्ट बेचे जाते हैं। वहीं रिपोर्ट रिसर्चर जेसिका क्लेंपर (Jessica Clempner) ने भी कहा है कि वित्तीय सेक्टर में महिलाओं को ज्यादा जगह नहीं मिलती है। सबसे बड़ा समूह होने के बावजूद इसके पास फाइनेंस प्रोडक्ट की पहुंच सबसे कम है। जेसिका क्लेंपर का कहना है कि महिलाओं को सही प्रोडक्ट नहीं देने के चलते वित्तीय सेक्टर को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है।
इतना ही नहीं, कई बार ऐसा भी होता है कि जो प्रोडक्ट जेंडर न्यूट्रल नजर होते हैं, वे भी पुरुषों को ध्यान में रखकर बनाए जाते हैं। लेकिन ऐसे प्रोडक्ट महिलाओं की वित्तीय जीवन की जरूरतों को पूरा करने में असमर्थ होते हैं।
50 करोड़ डॉलर कमा सकते हैं बीमाकर्ता
इसके लिए ऑलिवर ने एक अनुमान भी लगाया है, जिसके अनुसार अगर बीमाकर्ता पुरुषों के रेट के बराबर ही महिलाओं को भी जीवन पॉलिसी बेचे तो ने नए प्रीमियम में 50 करोड़ डॉलर कमा सकते हैं। इसके अतिरिक्त ऑलिवर के अनुसार, महिलाएं शेयर और बॉन्ड के बजाय अपने असेट नकद में रखना पसंद करती हैं, जिससे वेल्थ मैनेजर्स को फीस के रूप में 25 अरब डॉलर का नुकसान होता है।