बार्बी की निर्माता कम्पनी ने बनाई पहली जेंडर न्यूट्रल डॉल

18 महीने लगे, डॉक्टर से भी ली सलाह

बार्बी डॉल (गुड़िया) बनाने के लिए दुनियाभर में मशहूर कम्पनी मैटल का मुख्यालय। अमेरिका के कैलिफोर्निया स्थित इस बिल्डिंग में कंपनी अपने नए खिलौनों को बच्चों के साथ परीक्षण भी करती है। यहां एक खिलौने के परीक्षण के लिए शिया नाम का एक बच्चा है। ये नई बात नहीं है कि लड़के यहां आते हैं, लेकिन शिया जिस खिलौने के लिए आया है वो लड़कों का खिलौना नहीं बल्कि एक गुड़िया है। खास बात यह है कि शिया इसे देखकर बेहद उत्साहित है। दरअसल, यह गुड़िया खास है। दरअसल 1945 में बनी कम्पनी ने हाल ही में दुनिया की पहली जेंडर न्यूट्रल डॉल उतारी है। दुनियाभर में इसकी चर्चा इसलिए है क्योंकि इससे लड़के और लड़कियां दोनों खेल सकते हैं। कम्पनी ने अभी तक लड़कियों के लिए बार्बी (1959 में) और केन (1961 में) डॉल लॉन्च किया था। केन लड़का है इसलिए इसे लड़के ज्यादा पसंद करते हैं। यह पहला मौका है जब कम्पनी ने जेंडर न्यूट्रल डॉल बनाई है। इस डॉल लाइन का नाम ‘क्रिएटेबल वर्ल्ड’ है। इसमें 6 डॉल बनाई गई हैं, जिसकी हेयर स्टाइल, कपड़े आदि बच्चे अपने हिसाब से कस्टमाइज कर सकते हैं। इस गुड़िया को बनाने वाली टीम को किम कलमोन ने लीड किया है। किम कहती हैं कि ‘दुनिया में अब विभिन्न संस्कृतियां मिल रही हैं, लोग उसका सम्मान कर रहे हैं, आनंद ले रहे हैं। यह डॉल इसी संस्कृति को दिखाती है।
डॉल अलग-अलग त्वचा के रंग में उपलब्ध हैं। इनके लिए कई तरह की हेयर स्टाइल डिजाइन की गयी हैं। बच्चे चाहें तो इन्हें स्कर्ट पहना सकते हैं या पैंट या फिर दोनों ही। इसकी एक किट की कीमत 30 डॉलर है।’ किम बताती हैं कि ‘इस डॉल को बनाने में हमें 18 माह का समय लगा। मैटल ने इसके लिए विभिन्न डॉक्टर, जेंडर आइडेंटिटी को समझने वाले विशेषज्ञ आदि से बात की। यही नहीं कम्पनी ने अमेरिका में 250 परिवारों से इसके बारे में बात की।
किम कहती हैं ‘कंपनी ने जाना कि अभी वे किस तरह की डॉल से खेलते हैं और उन्हें क्या नया चाहिए।’ मेटल को अमेरिका में इस डॉल को लेकर शुरुआती रिएक्शन अच्छा मिला है। लोगों का कहना है कि अब समय आ गया है कि हम उन लोगों को भी बराबर सम्मान दें जो जेंडर फ्ल्यूड (जिन्हें कभी लगता है कि वे लड़के हैं और कभी लगता है कि लड़की हैं) हैं। गौरतलब है कि 2017 में प्यू रिसर्च ने अपने एक सर्वे में बताया था कि 76 फीसदी माता-पिता अपनी बेटियों को लड़कों का खिलौना खेलने देते हैं जबकि 64 फीसदी माता-पिता ही अपने लड़के को लड़कियों वाले खिलौने खेलने की अनुमति देते हैं।
2016 में बार्बी में किया था बदलाव
कम्पनी ने पहले भी बार्बी को लेकर प्रयोग किया है। वर्ष 2016 में कम्पनी ने बार्बी डॉल के तीन नए बॉडी टाइप लॉन्च किए थे। इसमें लंबी बार्बी, छोटे कद की बार्बी और सुडौल बार्बी शामिल हैं। यह करीब 60 साल के बार्बी के इतिहास में पहला मौका था जब कम्पनी ने स्थापित डॉल में कोई बड़ा बदलाव किया था। लेकिन इससे बार्बी को फायदा मिला था। पिछले वर्ष कम्पनी की बिक्री 14 फीसदी बढ़ गई थी।

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