कर्नल संतोष बाबू को मरणोपरान्त महावीर चक्र, 40 को मिलेगा जीवन रक्षा पदक

नयी दिल्ली, एजेंसियां। गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर सरकार ने पिछले साल 15 जून को गलवन घाटी में चीनी सैनिकों के साथ हुए संघर्ष में सर्वोच्च बलिदान देने वाले कर्नल संतोष बाबू को मरणोपरांत महावीर चक्र प्रदान करने की घोषणा की है। महावीर चक्र युद्धकाल में दिया जाने वाला दूसरा सर्वोच्च वीरता पुरस्कार है। उनके अलावा पुलवामा में हुए हमले से पहले आतंकियों की विस्फोटकों से भरी कार का पीछा करके उन्हें रोकने की कोशिश में अपनी जान न्योछावर करने वाले सीआरपीएफ के असिस्टेंट सब-इंस्पेक्टर मोहन लाल को वीरता के लिए सर्वोच्च पुलिस पदक प्रदान करने की घोषणा की गई है। सरकार की ओर से की गई घोषणा के मुताबिक सूबेदार संजीव कुमार (मरणोपरांत) कीर्ति चक्र प्रदान किया गया है। जबकि नायब सूबेदार मुडुराम सोरेन (मरणोपरांत), हवलदार के. पलानी (मरणोपरांत), नायब दीपक सिंह (मरणोपरांत), सिपाही गुरतेज सिंह (मरणोपरांत) और हवलदार तेजेंद्र सिंह को वीर चक्र प्रदान किया गया है। मेजर अनुज सूद (मरणोपरांत), राइफलमैन प्रणव ज्योतिदास और सोनम शेरिंग तमांग को शौर्य चक्र प्रदान किया गया है। इनके अलावा सरकार ने 207 पुलिस वीरता पदक, उत्कृष्ट सेवा के लिए 89 राष्ट्रपति पुलिस पद और सराहनीय सेवा के लिए 650 पुलिस पदक प्रदान करने की घोषणा की है।

40 लोगों को जीवन रक्षा पदक प्रदान किए जाने की स्वीकृति

उधर, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने दूसरों का जीवन बचाने के लिए बहादुरी दिखाने वाले 40 लोगों को जीवन रक्षा पदक प्रदान किए जाने की स्वीकृति दी है। इनमें एक केरल से ताल्लुक रखने वाले व्यक्ति का नाम भी शामिल है जिसे सर्वोत्तम जीवन रक्षा पदक (मरणोपरांत) प्रदान किया जाएगा। इसके अलावा मणिपुर में कथित फर्जी मुठभेड़ों की जांच के लिए सीबीआइ में एसएसपी के रूप में प्रतिनियुक्त दिल्ली पुलिस के अधिकारी महेश भारद्वाज को असाधारण सेवा के लिए राष्ट्रपति पुलिस पदक प्रदान किया गया है। फरवरी, 2018 में उन्हें मणिपुर में सुरक्षा बलों द्वारा कथित फर्जी मुठभेड़ों और मानवाधिकार उल्लंघनों की जांच में शामिल करने के सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर सीबीआई में प्रतिनियुक्त किया गया था।

उत्तम जीवन रक्षा पदक भी किए गए प्रदान

गृह मंत्रालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक, आठ लोगों को उत्तम जीवन रक्षा पदक और 31 लोगों को जीवन रक्षा पदक 31 प्रदान किए जाएंगे। जीवन रक्षा पदक श्रृंखला के पुरस्कार तीन श्रेणियों- सर्वोत्तम जीवन रक्षा पदक, उत्तम जीवन रक्षा पदक और जीवन रक्षा पदक के तौर पर दिए जाते हैं। केरल के मुहम्मद मोहसिन को सर्वोत्तम जीवन रक्षा पदक-2020 (मरणोपरांत) के लिए नामित किया गया है। ये पुरस्कार किसी व्यक्ति के संकट में पड़े जीवन को बचाने और उसकी मदद करने के लिए दिए जाते हैं। इस पुरस्कार के तहत पदक, गृह मंत्रालय द्वारा हस्ताक्षरित प्रमाणपपत्र और कुछ निश्चित राशि प्रदान की जाती है। गुजरात के रामशीभाई रतनभाई समद, महाराष्ट्र के परमेश्वर बालसजी नागरगोजे, पंजाब की अमनदीप कौर, तेलंगाना के कोरिपेल्ली स्त्रुजन रेड्डी तथा कई अन्य लोगों को उत्तम जीवन रक्षा पदक प्रदान किए जाएंगे।

आइटीबीपी के 17 जवान पुलिस पदक से सम्मानित

भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आइटीबीपी) के 17 जवानों को गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर सोमवार को विभिन्न श्रेणियों के पुलिस सेवा पदक से सम्मानित किया गया। दो अधिकारियों को उनकी बहादुरी के लिए पुलिस वीरता पदक से सम्मानित किया गया, जबकि तीन को उत्कृष्ट सेवा के लिए राष्ट्रपति पुलिस पदक और 12 को सराहनीय सेवा के लिए पुलिस पदक से सम्मानित किया गया। अधिकारियों ने कहा कि डिप्टी कमांडेंट राजेश कुमार लूथरा को जुलाई, 2019 में लद्दाख में चीनी सैनिकों के साथ गतिरोध को रोकने के लिए साहस और सूझबूझ का परिचय देने के लिए पुलिस वीरता पदक से सम्मानित किया गया है। वहीं, सहायक कमांडेंट अनुराग कुमार सिंह को 2017 में जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद-रोधी अभियान चलाने के लिए दूसरी बार वीरता पदक प्रदान किया गया। पदक पाने वाले अन्य अधिकारियों में महानिरीक्षक (आइजी) दीपम सेठ को सराहनीय सेवा के लिए पुलिस पदक से सम्मानित किया गया और उपमहानिरीक्षक सुधाकर नटराजन को उत्कृष्ट सेवा के लिए पुलिस पदक से सम्मानित किया गया है। उत्तराखंड कैडर के 1995 बैच के भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी सेठ 2019 के मध्य से लद्दाख में स्थित आइटीबीपी के उत्तर-पश्चिमी सीमावर्ती मोर्चे का नेतृत्व कर रहे हैं।

 

 

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