स्क्रीन राइटर्स एसोसिएशन जूही चतुर्वेदी के हक में दिया फैसला
कोलकाता : अमिताभ बच्चन और आयुष्मान खुराना की फिल्म ‘गुलाबो -सिताबो’ प्रदर्शित होने से पहले ही विवादों में है। निर्देशक सुजीत सरकार और निर्माता रॉनी लाहिड़ी के प्रोडक्शन हाउस राइजिंग सन फिल्म्स के बैनर तले निर्मित इस फिल्म की लेखिका जूही चतुर्वेदी पर साहित्यिक चोरी का आरोप लगा है। आरोपों का जवाब निर्देशक औऱ निर्माता ने दिया है। गौरतलब है कि दिवंगत लेखक राजीव अग्रवाल के बेटे अकीरा अग्रवाल ने इस साहित्यिक चोरी के आरोप लगाये हैं। राजीव अग्रवाल के बेटे अकीरा के अनुसार उनके पिता ने यह कहानी द स्क्रीन राइटर्स एसोसिएशन (एसडब्ल्यूए) द्वारा आयोजित सिनेस्तान इंडियाज स्टोरीटेलर स्क्रिप्ट कॉन्टेस्ट में जमा की थी। एसडब्ल्यूए स्क्रीन राइटरों और गीतकारों की ट्रेड यूनियन है और इसके प्रमुख अंजुम राजाबली हैं। ज्यूरी में जूही अन्य 2 निर्णायकों के साथ थीं। इसमें 8 पटकथाएँ चुननी थीं और 24 अक्टूबर 2018 को सभी निर्णायकों के पास शॉर्ट लिस्टेड प्रविष्टियाँ आईं और प्रोडक्शन हाउस के अनुसार इसमें अकीरा की कहानी शामिल नहीं थी। 2017 में जूही ने अमिताभ बच्चन को इस वृद्ध के बारे में बताया। अमिताभ को यह विचार पसन्द आया और विषय वस्तु का पंजीकरण मई 2018 में करवाया गया। जूही को संदिग्ध नकल की गयी पटकथा नहीं मिली। इस बात की पुष्टि अंजुम राजाबली और एसडब्ल्यूए ने की है और गत 29 मई को स्क्रीन राइटर्स एसोसिएशन ने जूही के पक्ष में फैसला दिया। वहीं जूही के मुताबिक गुलाबो – सिताबो उनका मौलिक काम है औऱ 2017 में उन्होंने निर्देशक तथा अमिताभ बच्चन के साथ यह विचार साझा किया था। विवादास्पद पटकथा तक उनकी पहुँच सिनेस्तान की प्रतियोगिता के ज्यूरी के रूप में भी नहीं थी और सिनेस्तान ने यह बात स्वीकार की है। जूही के मुताबिक यह विवाद लोकप्रियता पाने का जरिया है।