प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट में लिखा, ‘आज, जब हम भयावह जलियांवाला बाग नरसंहार के 100 वर्षों का निरीक्षण करते हैं, तो भारत उस घातक दिन पर शहीद हुए सभी लोगों को श्रद्धांजलि देता है।उनकी वीरता और बलिदान को कभी भुलाया नहीं जा सकेगा। उनकी स्मृति हमें उस भारत के निर्माण के लिए और भी अधिक मेहनत करने के लिए प्रेरित करती है जिस पर उन्हें गर्व होगा।’ ब्रिटिश उच्चायुक्त के अलावा कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह सहित कई गण्यमान्य लोगों ने शहीद स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की। इस मौके पर जलियांवाला बाग और इसके आसपास के क्षेत्र में कड़ी सुरक्षा है। जलियांवाला बाग के मुख्य द्वार सहित पूरे क्षेत्र में पुलिस व अर्द्ध सैनिक बलोें के जवान तैनात हैं।
जलियांवाला नरसंहार के 100 साल होने पर शहर में सुबह से ही काफी संख्या में लाेग पहुंच रहे हैं। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह भी सुबह जलियांवाला बाग पहुंचे। उनके साथ कैबनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू सहित अन्य मंत्री भी थे। उन्होंने जलियांवाला बाग के शहीद स्मारक पर शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
ब्रिटिश उच्चायुक्त सुबह जलियांवाला बाग पहुंचे और वहां शहीद स्मारक पर 100 साल पहले मारे गए शहीदों को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की। इसके बाद उन्होंने जलियांवाला बाग का अन्य हिस्सों को देखा। ब्रिटिश उच्चायुक्त डोमिनिक ने इसके बाद जलियांवाला बाग के विजिटर बुक पर अपने उद्गार लिखे। उन्होंने लिखा- 100 साल पहले हुई यह घटना एक बड़ी त्रासदी थी। यहां जो भी हुआ उसका हमें हमेशा खेद रहा है। यह बेहद शर्मनाक था। हम इतिहास को दोबारा नहीं लिख सकते। उच्चायुक्त ने जलियांवाला बाग के विजिटर बुक पर लिखा हम भारत और ब्रिटेन के बीच मजबूत रिलेशनशिप चाहते हैं।