नयी दिल्ली : सरकार ने वैश्विक पुनर्बीमा कम्पनियों के लिये अन्तरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केन्द्र (आईएफएससी) को आकर्षक निवेश केन्द्र बनाने के लिये गाँधीनगर स्थित आईएफएससी में शाखा शुरू करने के नियमों को सरल कर दिया है। नये प्रावधान के तहत गाँधीनगर आईएफएससी में शाखा शुरू करने के लिये विदेशी पुनर्बीमा कंपनियों के पास एक हजार करोड़ रुपये का स्वनियंत्रित कोष होने की जरूरत होगी। पहले पांच हजार करोड़ रुपये के कोष की जरूरत रखी गयी थी।
सरकार ने सिंगापुर, दुबई, हांग कांग, मलेशिया और लंदन आदि जैसे अंतरराष्ट्रीय वित्त केंद्रों में परिचालन कर रही वैश्विक पुनर्बीमा कम्पनियों को आकर्षित करने के लिये यह संशोधन किया है। वित्त मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इस संशोधन से गाँधीनगर आईएफएससी में विदेशी पुनर्बीमा कम्पनियों की भागीदारी बढ़ने का अनुमान है। सार्वजनिक क्षेत्र की एकमात्र पुनर्बीमा कंपनी जनरल इंश्योरेंस कारपोरेशन आफ इंडिया ने 2017 में अपनी आईएफएससी बीमा शाखा गाँधीनगर स्थित इस केन्द्र में खोली थी। देश में यह एकमात्र अंतरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केन्द्र है। आईएफएससी में कार्यालय खोलने से वैश्विक कम्पनियों अथवा संस्थानों को घरेलू अर्थव्यवस्था के अधिकार क्षेत्र से बाहर के भी अपने ग्राहकों की जरूरतों को पूरा करने की सुविधा उपलब्ध होती है।