वहीं करिए जो आप करना चाहती हैं

मशहूर ज्वेलरी डिजाइनर राधिका जैन अपने शौक को बड़ी खूबसूरती के साथ अपना क्षेत्र बनाया है। जेवरों की दुनिया में हर बार वे नया प्रयोग करती हैं और हैरत में डालती रहती हैं। हाल ही में हाल ही में राधिका के सिग्नेचर मायरा के अंर्तगत पेश किए गए फाइबर ज्वेलरी कलेक्शन को लैक्मे फैशन वीक में भी खूब तारीफें मिली। मशहूर ज्वेलरी डिजाइनर राधिका जैन से अपराजिता ने मुलाकात की, पेश हैं प्रमुख अंश –

बहन के साथ काम करके सीखा

मैंने प्रोफेशनल तौर पर ज्वेलरी डिजाइनिंग का कोर्स नहीं किया। यह मेरा शौक था जो प्रोफेशन में बदला और इसके पीछे मेरी बहन से मिलने वाली प्रेरणा थी। उसे आभूषणों की दुनिया में काम करते देख मेरे अन्दर शौक जगा। मैं तब उसकी मदद किया करती थी और बाद में उसे देखकर खुद भी आभूषण बनाना सीख गयी। अपने जेवर कई दुकानों और ज्वेलरी बुटिक में उपलब्ध करवाना आरम्भ किया, काम चल निकला और सफर शुरू हो गया। मायरा नाम हम दो बहनों को लेकर बना है, मीरा और राधिका मगर मैंने इसे मीरा की जगह मायरा नाम दिया। हम सेमी प्रेशियस स्टोन पर सोने और चांदी की प्लेटिंग से जेवर बनाते हैं और अब तो फाइबर पर भी काम किया है।

सेमीप्रेशियस ज्वेलरी की माँग बढ़ ही रही है

आज ज्वेलरी उद्योग में भी काफी बदलाव आया है। प्रतियोगिता बढ़ गयी है। किफायती फैंसी जेवर तो पहले भी पसन्द किए जाते थे और अब स्टोन पर भी भारी काम पसन्द किया जा रहा है। लोग अब आभूषण खरीद रहे हैं। मेरे पास बजट के अनुसार जेवर उपलब्ध हैं। असली जेवर भी लोग अपना स्टेटस ध्यान में रखकर खरीद रहे हैं मगर आज तो जेवर जरूरत भी है और हर वक्त महँगे जेवर नहीं पहन सकते इसलिए सेमीप्रेशियस ज्वेलरी की माँग बढ़ ही रही है।

कारीगरों को पेशेवर प्रशिक्षण देने की जरूरत है

बंगाल में हस्तशिल्प बेहद अच्छा है और यहाँ के कारीगरों का काम हर जगह सराहा जाता है। उनको बस पेशेवर तरीके से प्रशिक्षण देने और उनके हुनर को तराशने की जरूरत है। व्यवसायिक तौर पर मार्केटिंग बहुत जरूरी होती है तो उस पर भी ध्यान देना होगा।

जल्दबाजी में डिजाइन नहीं करती

मैं अपने स्टोन खुद खरीदती हूँ और मेरे डिजाइन काफी अलग हैं। मैं जल्दबाजी में कभी डिजाइन नहीं करती। कच्चे माल और डिजाइन पर ध्यान देना बहुत जरूरी होता है और आपको हमेशा कुछ नया करना पड़ता है जैसे कि मैंने अपने कलेक्शन में हाथी दाँत की जगह फाइबर इस्तेमाल किया है। लोगों की पसन्द के अनुसार भी हम जेवर तैयार कर उनको देते हैं। फ्लोरल डिजाइन और रंगों पर खास तौर पर ध्यान देते हैं।

वहीं करिए जो आप करना चाहती हैं

मेरा मानना है कि आपको जिस काम से खुशी मिलती हो, वही करना चाहिए। लड़कियों के लिए अपने पैर पर खड़ा होना व आत्मनिर्भर होना बहुत जरूरी है। वहीं करिए जो आप करना चाहती हैं। हर काम अपने आप में महत्वपूर्ण है।

 

 

 

 

 

शुभजिता

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